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संस्थागत रुपरेखा
सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ़ टेलीमैटिक्स ( सी-डॉट) की स्थापना अगस्त 1984 में दूरसंचार विभाग, भारत सरकार के एक स्वायत्त दूरसंचार अनुसंधान एवं विकास केंद्र के रूप में की गई थी। यह सोसाइटी पंजीकरण अधिनियम, 1860 के तहत एक पंजीकृत सोसाइटी है। यह वैज्ञानिक और औद्योगिक अनुसंधान विभाग (डीएसआईआर), विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय, भारत सरकार के साथ एक पंजीकृत 'सार्वजनिक वित्त पोषित शोध संस्थान' है। देश में स्वदेशी दूरसंचार क्रांति के जनक के रूप में सम्मानित, सी-डॉट 3 दशक से अधिक समय से भारतीय परिदृश्य के अनुकूल दूरसंचार प्रौद्योगिकियों के स्वदेशी डिजाइन, विकास और उत्पादन में आर एंड डी के अथक प्रयास करते हुए प्रौद्योगिकी में अग्रणी रहा है और भारतीय दूरसंचार नेटवर्क के डिजिटाइजेशन में इसका महत्वपूर्ण योगदान है।
प्रारंभिक वर्षों में, सी-डॉट ने ग्रामीण भारत में दूरसंचार क्रांति का सूत्रपात किया, जिसकी बदौलत चहुँ-मुखी सामाजिक-आर्थिक विकास हुआ। अपनी विकास प्रक्रिया में, सी-डॉट ने उद्योग जगत के लिए उपकरण विनिर्माताओं और घटक विक्रेताओं का एक विस्तृत आधार तैयार किया है। इतना ही नहीं, सी-डॉट अपने प्रौद्योगिकी हस्तांतरण मॉडल के आधार पर उच्च गुणवत्ता वाले दूरसंचार उत्पादों और समाधानों के थोक उत्पादन में विनिर्माताओं की सुविधा के लिए दूरसंचार विनिर्माण पारिस्थितिक तंत्र विकसित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है।
सी-डॉट, इन वर्षों में, एक सम्पूर्ण दूरसंचार अनुसंधान एवं विकास संस्थान के रूप में विकसित हुआ है, जो सीएमएमआई मॉडल के परिपक्वता स्तर -5 का अनुपालन करता है, और यह बड़े पैमाने पर अत्याधुनिक दूरसंचार प्रौद्योगिकियों के विकास कार्यक्रमों का दायित्व उठाने की क्षमता रखता है। राष्ट्रीय और सामरिक महत्व के उत्पादों के विकास के साथ राष्ट्र निर्माण के प्रति सी-डॉट की वचनबद्धता जारी है। स्वदेशी दूरसंचार आर एंड डी के पथ-प्रदर्शक के रूप में सी-डॉट ऑप्टिकल, स्विचिंग, वायरलेस, सिक्योरिटी और नेटवर्क मैनेजमेंट जैसे क्षेत्रों में नवीनतम प्रौद्योगिकी उत्पाद लगातार विकसित कर रहा है और साथ ही, एम 2 एम / आईओटी, 5 जी, एआई आदि जैसी भावी प्रौद्योगिकियों पर भी काम कर रहा है।
सी-डॉट भारत सरकार के डिजिटल इंडिया, मेक इन इंडिया, भारतनेट, स्किल इंडिया, स्टार्टअप इंडिया और स्मार्ट सिटीज जैसे विभिन्न प्रमुख कार्यक्रमों के उद्देश्यों को साकार करने के लिए काम करके देश के दूरसंचार क्षेत्र के सुधार के लिए अपनी सुस्पष्ट प्रतिबद्धता दोहराता है।